This is a printer friendly version

Search:

by keyword or phrase:

Go to:

Bible reference:

Translations:

Preferred Translations

  • Preferred Translations can be selected from the preferences tab

All Translations

Extra context verses: 0

john 1:1 (Table III)

Eusebian Number

1.1 3.14 4.1 4.3 4.5
Matt.1.1-16 Luke.3.23-38 John.1.1-5 John.1.9-10 John.1.14
1इब्राहीम के वंशज दाऊद के पुत्र यीशु मसीह की वंशावली इस प्रकार है:
2इब्राहीम का पुत्र था इसहाक
  • और इसहाक का पुत्र हुआ याकूब।
  • फिर याकूब से यहूदा
  • और उसके भाई उत्पन्न हुए।
  • 3यहूदा के बेटे थे फिरिस और जोरह। (उनकी माँ का नाम तामार था।)
  • फिरिस, हिस्रोन का पिता था।
  • हिस्रोन राम का पिता था।
  • 4राम अम्मीनादाब का पिता था।
  • अम्मीनादाब से नहशोन
  • और नहशोन से सलमोन का जन्म हुआ।
  • 5सलमोन से बोअज का जन्म हुआ। (बोअज की माँ का नाम राहब था।)
  • बोअज और रूथ से ओबेद पैदा हुआ,
  • ओबेद यिशै का पिता था।
  • 6और यिशै से राजा दाऊद पैदा हुआ।
  • सुलैमान दाऊद का पुत्र था (जो उस स्त्री से जन्मा जो पहले उरिय्याह की पत्नी थी।)
  • 7सुलैमान रहबाम का पिता था।
  • और रहबाम अबिय्याह का पिता था।
  • अबिय्याह से आसा का जन्म हुआ।
  • 8और आसा यहोशाफात का पिता बना।
  • फिर यहोशाफात से योराम
  • और योराम से उज्जिय्याह का जन्म हुआ।
  • 9उज्जिय्याह योताम का पिता था
  • और योताम, आहाज का।
  • फिर आहाज से हिजकिय्याह।
  • 10और हिजकिय्याह से मनश्शिह का जन्म हुआ।
  • मनश्शिह आमोन का पिता बना
  • और आमोन योशिय्याह का।
  • 11फिर इस्राएल के लोगों को बंदी बना कर बेबिलोन ले जाते समय योशिय्याह से यकुन्याह और उसके भाईयों ने जन्म लिया। 12बेबिलोन में ले जाये जाने के बाद यकुन्याह
  • शालतिएल का पिता बना।
  • और फिर शालतिएल से जरुब्बाबिल।
  • 13तथा जरुब्बाबिल से अबीहूद पैदा हुए।
  • अबीहूद इल्याकीम का
  • और इल्याकीम अजोर का पिता बना।
  • 14अजोर सदोक का पिता था।
  • सदोक से अखीम
  • और अखीम से इलीहूद पैदा हुए।
  • 15इलीहूद इलियाजार का पिता था
  • और इलियाजार मत्तान का।
  • मत्तान याकूब का पिता बना।
  • 16और याकूब से यूसुफ पैदा हुआ।
  • जो मरियम का पति था।
  • मरियम से यीशु का जन्म हुआ जो मसीह कहलाया।
  • 23यीशु ने जब अपना सेवा कार्य आरम्भ किया तो वह लगभग तीस वर्ष का था। ऐसा सोचा गया कि वह

    • एली के बेटे यूसुफ का पुत्र था।
    • 24एली जो मत्तात का,
    • मत्तात जो लेवी का,
    • लेवी जो मलकी का,
    • मलकी जो यन्ना का,
    • यन्ना जो यूसुफ का,
    • 25यूसुफ जो मत्तित्याह का,
    • मत्तित्याह जो आमोस का,
    • आमोस जो नहूम का,
    • नहूम जो असल्याह का,
    • असल्याह जो नोगह का,
    • 26नोगह जो मात का,
    • मात जो मत्तित्याह का,
    • मत्तित्याह जो शिमी का,
    • शिमी जो योसेख का,
    • योसेख जो योदाह का,
    • 27योदाह जो योनान का,
    • योनान जो रेसा का,
    • रेसा जो जरुब्बाबिल का,
    • जरुब्बाबिल जो शालतियेल का,
    • शालतियेल जो नेरी का,
    • 28नेरी जो मलकी का,
    • मलकी जो अद्दी का,
    • अद्दी जो कोसाम का,
    • कोसाम जो इलमोदाम का,
    • इलमोदाम जो ऐर का,
    • 29ऐर जो यहोशुआ का,
    • यहोशुआ जो इलाज़ार का,
    • इलाज़ार जो योरीम का,
    • योरीम जो मत्तात का,
    • मत्तात जो लेवी का,
    • 30लेवी जो शमौन का,
    • शमौन जो यहूदा का,
    • यहूदा जो यूसुफ का,
    • यूसुफ जो योनान का,
    • योनान जो इलियाकीम का,
    • 31इलियाकीम जो मेलिया का,
    • मेलिया जो मिन्ना का,
    • मिन्ना जो मत्तात का,
    • मत्तात जो नातान का,
    • नातान जो दाऊद का,
    • 32दाऊद जो यिशै का,
    • यिशै जो ओबेद का,
    • ओबेद जो बोअज का,
    • बोअज जो सलमोन का,
    • सलमोन जो नहशोन का,
    • 33नहशोन जो अम्मीनादाब का,
    • अम्मीनादाब जो आदमीन का,
    • आदमीन जो अरनी का,
    • अरनी जो हिस्रोन का,
    • हिस्रोन जो फिरिस का,
    • फिरिस जो यहूदाह का,
    • 34यहूदाह जो याकूब का,
    • याकूब जो इसहाक का,
    • इसहाक जो इब्राहीम का,
    • इब्राहीम जो तिरह का,
    • तिरह जो नाहोर का,
    • 35नाहोर जो सरूग का,
    • सरूग जो रऊ का,
    • रऊ जो फिलिग का,
    • फिलिग जो एबिर का,
    • एबिर जो शिलह का,
    • 36शिलह जो केनान का,
    • केनान जो अरफक्षद का,
    • अरफक्षद जो शेम का,
    • शेम जो नूह का,
    • नूह जो लिमिक का,
    • 37लिमिक जो मथूशिलह का,
    • मथूशिलह जो हनोक का,
    • हनोक जो यिरिद का,
    • यिरिद जो महललेल का,
    • महललेल जो केनान का,
    • 38केनान जो एनोश का,
    • एनोश जो शेत का,
    • शेत जो आदम का,
    • और आदम जो परमेश्वर का पुत्र था।
    1आदि में शब्द था। शब्द परमेश्वर के साथ था। शब्द ही परमेश्वर था। 2यह शब्द ही आदि में परमेश्वर के साथ था। 3दुनिया की हर वस्तु उसी से उपजी। उसके बिना किसी की भी रचना नहीं हुई। 4उसी में जीवन था और वह जीवन ही दुनिया के लोगों के लिये प्रकाश (ज्ञान, भलाई) था। 5प्रकाश अँधेरे में चमकता है पर अँधेरा उसे समझ नहीं पाया।
    9उस प्रकाश की, जो सच्चा था, जो हर मनुष्य को ज्ञान की ज्योति देगा, जो धरती पर आने वाला था।
    10वह इस जगत में ही था और यह जगत उसी के द्वारा अस्तित्व में आया पर जगत ने उसे पहचाना नहीं।
    14उस आदि शब्द ने देह धारण कर हमारे बीच निवास किया। हमने परम पिता के एकमात्र पुत्र के रूप में उसकी महिमा का दर्शन किया। वह करुणा और सत्य से पूर्ण था।